Written By Mona Dixit
Published By: Mona Dixit | Published: Aug 27, 2024, 08:00 AM (IST)
Telegram Ban in India का यूज करने वाले यूजर्स के लिए एक बुरी खबर है। लोकप्रिय इंस्टेंट मैसेजिंग ऐप टेलीग्राम ऐप को भारत में बैन किया जा सकता है। जी हां, भारत सरकार टेलीग्राम की जांच कर रही है, क्योंकि उसे संदेह है कि इसका यूज जबरन वसूली और जुए जैसी गतिविधियों के लिए किया जा रहा है। अगर ऐप ऐसी किसी भी गतिविधियों में शामिल पाई जाती है तो भारत इस पर बैन लगा सकता है। डिटेल के लिए नीचे पढ़ें। और पढें: WhatsApp–Telegram जैसी कंपनियां नई सरकारी SIM Binding पॉलिसी से नाराज, लेकिन Jio–Airtel ने इस फैसले का किया स्वागत
Moneycontrol की रिपोर्ट के अनुसार, भारत सरकार मैसेजिंग ऐप Telegram की जांच कर रही है, क्योंकि उसे लग रहा है कि इस ऐप का यूज जबरन वसूली और जुए जैसी गतिविधियों के लिए हो रहा है। जांच के आधार पर इस ऐप पर प्रतिबंध भी लगाया जा सकता है। यह जांच गृह मंत्रालय (MHA) और इलेक्ट्रॉनिक्स एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय (MeitY) के तहत भारतीय साइबर अपराध समन्वय केंद्र (I4C) कर रहा है। और पढें: भारत सरकार का बड़ा फैसला, बिना SIM बिल्कुल नहीं चलेगा WhatsApp, जल्द लागू होगा ये सख्त नियम
टेलीग्राम के फाउंडर और CEO Pavel Durov को गिरफ्तारी कर लिया गया है। इसके बाद ही यह जानकारी सामने आ है। Pavel को 24 अगस्त को पेरिस में उनके ऐप की मॉडरेशन पॉलिसियों के कारण गिरफ्तार किया गया था, जिसमें प्लेटफॉर्म पर आपराधिक गतिविधियों को रोकने में विफलता शामिल है। टेक अरबपति Elon Musk और whistleblower Edward Snowden ने उनकी गिरफ्तारी के बाद उनका सपोर्ट किया। और पढें: Telegram का आया बड़ा अपडेट, लॉन्च किए लाइव स्टोरीज और Liquid Glass UI के नए फीचर्स
रिपोर्ट की मानें तो भारत सरकार जांच में अपना फोकस Peer-To-Peer (P2P) कम्युनिकेशन पर रखेगी। जांच में गैर कानूनी एक्टिविटीज की जांच होगी। जांच की रिपोर्ट के बाद फैसला लिया जाएगा।
पिछले कुछ समय से टेलीग्राम के जरिए कई लोग साइबर क्राइम का शिकार हो रहे हैं। लाखों की ठगी की जा रही है। हाल ही में यूजीसी-नीट विवाद को लेकर टेलीग्राम चर्चा में रहा। इसके कारण छात्रों ने विरोध प्रदर्शन किया, जिसके बाद सुप्रीम कोर्ट को हस्तक्षेप करना पड़ा। मेडिकल प्रवेश परीक्षा का पेपर लीक हो गया था और एन्क्रिप्टेड मैसेजिंग ऐप टेलीग्राम पर शेयर किया गया था। रिपोर्ट के अनुसार, प्लेटफॉर्म पर पेपर 5,000 रुपये से 10,000 रुपये के बीच बेचा जा रहा था।