Written By Ashutosh Ojha
Edited By: Ashutosh Ojha | Published By: Ashutosh Ojha | Published: Nov 07, 2025, 03:48 PM (IST)
भारतीय टेक इंडस्ट्री में एक बड़ा बदलाव देखने को मिल सकता है। चेन्नई की कंपनी Zoho द्वारा बनाई गई देसी मैसेजिंग ऐप Arattai और दुनिया की सबसे बड़ी चैटिंग ऐप WhatsApp के बीच अब बातचीत का रास्ता खुल सकता है। दरअसल Zoho के फाउंडर श्रीधर वेम्बू ने कुछ हफ्ते पहले सुझाव दिया था कि मैसेजिंग ऐप्स को एक-दूसरे से जुड़ने की सुविधा देनी चाहिए, जैसे आज UPI ऐप्स में होता है। अब रिपोर्ट्स के मुताबिक, व्हाट्सएप भी इसी दिशा में काम कर रहा है। बताया जा रहा है कि व्हाट्सएप एक ऐसा फीचर टेस्ट कर रहा है जिससे यूजर्स दूसरे प्लेटफॉर्म के लोगों को भी मैसेज भेज सकेंगे, यानी अगर कोई व्यक्ति अरत्तई यूज कर रहा है, तो उसे व्हाट्सएप से ही मैसेज किया जा सकेगा। और पढें: WhatsApp ला रहा है ‘Strict Account Settings’ फीचर, अब आपकी चैट और कॉल रहेंगे पूरी तरह सुरक्षित
टेक वेबसाइट WaBetaInfo की रिपोर्ट के अनुसार, व्हाट्सएप इस नए फीचर को टेस्ट कर रहा है, जिससे यूजर बिना किसी दूसरे ऐप को खोले, दूसरे प्लेटफॉर्म के लोगों से चैट कर पाएंगे। शुरुआत में यह फीचर सिर्फ यूरोप के कुछ बीटा टेस्टर्स के लिए जारी किया गया है लेकिन भविष्य में इसे बाकी देशों में भी लाया जा सकता है। हालांकि अभी यह फीचर सिर्फ एक थर्ड पार्टी ऐप BirdyChat के साथ काम कर रहा है। माना जा रहा है कि आने वाले समय में Arattai जैसे ऐप्स भी इस लिस्ट में जुड़ सकते हैं। Zoho के फाउंडर वेम्बू ने पहले ही कहा था कि सभी चैट ऐप्स को एक समान प्रोटोकॉल पर चलना चाहिए, ताकि किसी एक कंपनी का एकाधिकार न हो।
देखने में यह कदम व्हाट्सएप का नया इनोवेशन लगता है लेकिन इसकी असली वजह यूरोपियन यूनियन (EU) के नए नियम हैं। EU ने हाल ही में Digital Markets Act (DMA) लागू किया है, जिसके तहत बड़ी टेक कंपनियों को अपने प्लेटफॉर्म को दूसरे ऐप्स के लिए भी ओपन करना अनिवार्य है। इसका मतलब यह हुआ कि अब व्हाट्सएप जैसे बड़े ऐप्स को दूसरे मैसेजिंग ऐप्स के साथ क्रॉस-कम्युनिकेशन की सुविधा देनी होगी। इस नियम का मकसद है कि कोई भी कंपनी मोनोपॉली (एकाधिकार) न बना सके और छोटे ऐप्स को भी बराबर मौका मिले। हालांकि इस फीचर के लिए ऐप्स को व्हाट्सएप की सिक्योरिटी और एन्क्रिप्शन स्टैंडर्ड्स को पूरा करना होगा, ताकि यूजर डेटा पूरी तरह सुरक्षित रहे। फिलहाल Arattai में एंड-टू-एंड एन्क्रिप्शन फीचर नहीं है लेकिन कंपनी जल्द इसे लाने की बात कह चुकी है।
फिलहाल यह फीचर केवल यूरोपीय बाजार तक सीमित रहेगा क्योंकि यह EU के नियमों को पूरा करने के लिए लाया जा रहा है। भारत या बाकी देशों में इसे लाने की कोई आधिकारिक जानकारी अभी तक व्हाट्सएप की ओर से नहीं दी गई है, लेकिन अगर यह प्रयोग सफल रहता है तो भविष्य में भारतीय यूजर्स को भी व्हाट्सएप से Arattai जैसे ऐप्स पर सीधे मैसेज करने की सुविधा मिल सकती है। इससे भारतीय ऐप्स को भी अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पहचान मिलेगी और लोगों को एक ओपन और कनेक्टेड डिजिटल इकोसिस्टम का अनुभव मिलेगा। आने वाले महीनों में यह देखने लायक होगा कि क्या सच में व्हाट्सएप और Arattai के बीच यह दीवार टूटती है या नहीं।